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उज्जैन:0.2 मिमी वर्षा, प्री-मानसून गतिविधियों का इंतजार






नौतपा के पहले ही मौसम के तेवर ठंडे

उज्जैन।शहर के लोग गर्मी से परेशान हैं, लेकिन गर्मी है कि खत्म होने का नाम ही नहीं ले रही है। हां, रोजाना तापमान कम जरूर हो रहा है, लेकिन यह बदलाव सिर्फ आंकड़ों में दिखता है।

असल में तो गर्मी ने सभी का हालत खराब कर रखी है। इधर मंगलवार को सुबह मौसम का मिजाज कुछ अलग था। आसमान में बादलों का डेरा था और कुछ देर पड़ी बौछारें ने सड़कों को भीगो दिया। शहर में करीब 0.2 मिमी वर्षा दर्ज हुई।
नौतपा के पहले ही मौसम के तेवर ठंडे होने लगे हैं। अगले चार-पांच दिन में प्री-मानसून गतिविधि बढ़ेगी। इस दौरान 25 मई से शुरू हो रहे नौतपा की तपिश भी कम हो जाएगी। मौसम विभाग के अनुसार उज्जैन,इंदौर भोपाल, और नर्मदापुरम संभाग में दो-तीन दिन में प्री-मानसून बौछारें पडऩे की संभावना है।
सोमवार को भी तेज हवाओं ने लोगों की उम्मीदें बढ़ा दी थी, लेकिन शहर के आसपास के जिलों में पानी गिरा और यहां कुछ क्षेत्रों में बूंदा-बांदी से उमस बढ़ गई। पंखों, कूलरों ने जवाब दे दिया। सारी रात लोग उमस से परेशान होते नजर आए। मंगलवार को सुबह बादल छाए हुए थे।

हवाओं के साथ बूंदा-बांदी हुई,बौछारें भी पड़ी। प्रदेश कई हिस्सों में पर बूंदा-बांदी हुई। अनुमान है कि इसका दायरा बढ़ेगा। कई हिस्सों में तेज हवाएं, धूल भरी आंधी के साथ बूंदा-बांदी होगी। मौसम विज्ञानियों की मानें तो शहर में प्री-मानसून गतिविधियां शुरू होने में अभी एक-दो दिन और लगेंगे।
गर्मी का सबसे तीखा समय बीत चुका…
मौसम विज्ञानियों के अनुसार गर्मी का सबसे तीखा समय बीत चुका है। ऐसे में 25 मई बुधवार से शुरू हो रहे नौतपा में भी बारिश होने की संभावना है। राजस्थान में हवा के ऊपरी भाग में चक्रवात बन चुका है। वहीं एक पश्चिमी विक्षोभ अफगानिस्तान तक आ चुका है। इसका प्रभाव देश पर पडऩा शुरू हो गया है।

इसके सम्मिलित प्रभाव से प्रदेश में असर दिखना शुरू हो गया है। अब तक जो पश्चिमी विक्षोभ आए हैं, वे ऊपरी अक्षांश में रहे हैं, इसके चलते असर मध्य तक नहीं आया लेकिन अब पूर्व-पश्चिमी द्रोणिका बनने लगी है वहीं उत्तरी- दक्षिणी द्रोणिका भी बनी हुई है।


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