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पूर्व सैनिक के समर्थन में उतरी करणी सेना, कोरोना प्रोटोकॉल के बावजूद आईजी बंगले का किया घेराव

उज्जैन में पूर्व सैनिक और पुलिस अधिकारियों के बीच हुआ विवाद गहरा गया है. इस मामले को लेकर करणी सेना ने प्रदर्शन किया.
 हालांकि, कोरोना संक्रमण को देखते हुए फिलहाल आंदोलन और धरना, प्रदर्शन पर रोक लगी हुई है, बावजूद इसके प्रदर्शन से कोरोना गाइडलाइन की धज्जियां उड़ा दी गई. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के आदेश पर पूरे प्रदेश में रात्रिकालीन कर्फ्यू जारी है. 31 दिसंबर और 1 जनवरी की दरमियानी रात पूर्व सैनिक रवि भदौरिया का गश्ती दल के साथ विवाद हो गया.पूर्व सैनिक और पुलिस अधिकारियों के बीच विवाद
इस मामले का थाना माधवनगर और थाना नानाखेड़ा में दो अपराध दर्ज किए गए हैं. दोनों ही मामलों में पूर्व सैनिक रवि भदौरिया को आरोपी बताया गया है. रवि की ओर से भी थाना माधव नगर में पुलिस अधिकारियों के खिलाफ शिकायत की गई है. करणी सेना ने भदौरिया के पक्ष में प्रदर्शन किया. इस दौरान टावर चौक से आईजी बंगले तक रैली निकाली गई. रैली के बाद आईजी बंगले का घेराव किया गया. करणी सेना ने पुलिस अधिकारियों पर भी मुकदमा दर्ज करने की मांग की है. कलेक्टर आशीष सिंह के मुताबिक प्रदेश सरकार की गाइडलाइन के अनुसार उज्जैन में भी कोरोना प्रोटोकॉल का पालन कराया जा रहा है. उज्जैन में फिलहाल सभी प्रकार की रैली, धरने, प्रदर्शन पर प्रतिबंध है.

करणी सेना आंदोलन जारी रहने की दी चेतावनी
करणी सेना के हेमंत सिंह चौहान ने चेतावनी देते हुए कहा कि अगर रवि भदौरिया की ओर से शिकायत दर्ज नहीं की गई तो आगे भी आंदोलन जारी रहेगा. करणी सेना के लोगों ने लगभग आधे घंटे तक आईजी बंगले के सामने धरना दिया. इस दौरान सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ा दी गई. इसके अलावा कई प्रदर्शनकारी मास्क भी नहीं पहने नजर आए. एबीपी न्यूज़ की टीम ने करणी सेना के प्रदर्शनकारियों से कोरोना का हवाला देते हुए मास्क पहनने की अपील की तो उन्होंने इस अपील को मान लिया. गौरतलब है कि उज्जैन में कोरोना मरीजों की संख्या 1000 से ऊपर पहुंच गई है. ऐसी स्थिति में गाइडलाइन का पालन नहीं करना बेहद महंगा पड़ सकता है. इसी के चलते एबीपी न्यूज़ की टीम ने प्रदर्शनकारियों को सतर्क किया तो बात मान गए.

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