राज्य स्तरीय राष्ट्रीय सेवा योजना पुरस्कार की संख्या और राशि में होगी बढ़ोत्तरी - उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. यादव
उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि राष्ट्रीय सेवा योजना का उद्देश्य सामाजिक सेवा के जरिये छात्रों का व्यक्तित्व विकास करना है। उन्होंने कहा कि पुरस्कार हमेशा प्रोत्साहित करते हैं। सामुदायिक सेवा एक जिम्मेदारी है, इससे विद्यार्थियों में राष्ट्र निर्माण में भागीदारी की भावना विकसित होती है। उच्च शिक्षा मंत्री ने कहा कि कोरोना-काल के कठिन समय में भी एनएसएस के छात्रों ने लगातार समाज-सेवा में अपना महत्वपूर्ण योगदान दिया है। उन्होंने कहा कि अगले वित्तीय वर्ष से राज्य स्तरीय पुरस्कारों की संख्या को 18 से बढ़ाकर 20 किया जायेगा। उन्होंने स्वयं-सेवक स्तर पर विद्यार्थियों को दी जाने वाली 11 हजार रुपये की पुरस्कार राशि को बढ़ाकर 21 हजार रुपये करने की अनुशंसा की।
मध्यप्रदेश राज्य स्तरीय राष्ट्रीय सेवा योजना पुरस्कार के तहत विश्वविद्यालय स्तरीय कार्यक्रम समन्वयक के लिये प्रतिवर्ष एक, जिला संगठक स्तर पर दो, संख्या स्तर पर कार्यक्रम अधिकारी को 12 प्रशस्ति-पत्र प्रदान किये जाने का प्रावधान है। इसके अतिरिक्त स्वयं-सेवक स्तर पर 18 पुरस्कार प्रदाय किये जाते हैं। इसमें महाविद्यालय स्तर के 13 विद्यार्थी, जिनमें 3 छात्राओं का होना आवश्यक है तथा 5 स्वयं-सेवक विद्यालय स्तर के होंगे, जिनमें एक छात्रा अनिवार्य होगी। साथ ही राष्ट्रीय सेवा योजना कार्यक्रम अधिकारी स्तर पर कुल 12 पुरस्कार प्रदान किये जाते हैं। इस अवसर पर चयन समिति के सदस्य समाज-सेवी उज्जैन श्री सुरेन्द्र सिंह अरोरा, पाणिनी संस्कृत विश्वविद्यालय उज्जैन के प्रतिनिधि डॉ. तुलसीदास, भारत सरकार युवा कार्य एवं
खेल मंत्रालय के प्रतिनिधि श्री दीपक उपाध्याय, स्कूल शिक्षा तथा उच्च शिक्षा विभाग के अधिकारी मौजूद थे।
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